खाद्य सामग्री की जमकर हो रही कालाबाजारी दोगुने दामों पर दिया जा रहा है सामान, प्रशासन मौन
शामली। एक तरफ जहां जिले में कोरोना वायरस को लेकर लागू किए गए लाॅक डाउन में काम धंधा न होने से लोग परेशान हैं वहीं कुछ दुकानदार लाॅक डाउन का पूरा फायदा उठाकर राशन का सामान दोगुने-तिगुने दामों पर बेचकर मोटा मुनाफा कमा रहे हैं। आलम यह है कि खाद्य सामग्री को मुंहमांगे दामों पर बेचा जा रहा है और विरोध करने पर अभद्रता तक की जा रही है। लोगों का आरोप है कि इस ओर से प्रशासन ने भी मुंह फेर रखा है, कालाबाजारी करने वालों के खिलाफ कार्रवाई नहीं हो रही है जिससे उनके हौंसले बुलंद हो रहे हैं। 

जानकारी के अनुसार कोरोना वायरस को लेकर केन्द्र सरकार द्वारा पूरे देश में लाॅक डाउन घोषित कर रखा है। इस दौरान लोगों को घरों से निकलने की इजाजत नहीं है। लाॅक डाउन के कारण किराना सहित कुछ अति आवश्यक सेवाओं को छूट मिली हुई है जबकि अन्य प्रतिष्ठान पूरी तरह बंद हैं जिसका फायदा कुछ मुनाफाखोर दुकानदार उठा रहे हैं और राशन का सामान दोगुने-तिगुने दामों पर बेचा जा रहा है। शुरू-शुरू में प्रशासन को शिकायत मिलने के बाद अधिकारियों की टीम ने दुकानों पर छापे मारकर कालाबाजारी न करने के सख्त दिशा निर्देश देते हुए रेट लिस्ट भी चस्पा कर दी थी लेकिन चेतावनी के बावजूद ऐसे कालाबाजारियों पर कोई असर नहीं हुआ और अभी भी सामानों को दोगुने-तिगुने दामों पर बेचा जा रहा है। आटे का 10 किलो का पैकेट जो 300 रुपये में मिल जाता था, आज उसके दाम 400-450 रुपये तक पहुंच गए हैं, यही नहीं सरसों के तेल के दाम भी 100 के बजाय 120-125 तक पहुंच गए हैं। इसके अलावा कई ऐसे चीजें जो घर में खाना बनाने के काम में आती हैं, के दामों पर भी मोटा मुनाफा कमाया जा रहा है। लोगों का कहना है कि बीडी का बंडल जो 10 रुपये में आता था, आज उसके दाम 25 रुपये तक पहुंच गए हैं। बीडी-सिगरेट को भी दोगुने दाम में बेचकर मोटा मुनाफा कमाया जा रहा है, लाॅक डाउन के कारण काम धंधा बंद होने से उनके सामने पैसे की परेशानी भी खडी हो गयी है और दुकानदार दोगुने-तिगुने दाम वसूल कर रहे हैं और विरोध करने पर सामान न देने व अभद्रता करते हैं। प्रशासन ने भी ऐसे मुनाफाखोर दुकानदारों के प्रति मुंह फेर रखा है और कार्रवाई न होने से उनके हौंसले बुलंद हो रहे हैं। लोगों ने जिला प्रशासन से ऐसे दुकानदारों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।